दिए गए गद्यांश के आधार पर पूछे गए प्रश्न का उत्तर के लिए सबसे उपयुक्त विकल्प का चयन कीजिए।
तिरुवल्लुवर का जन्म ईसा पूर्व प्रथम शताब्दी माना जाता है। इनका जन्म स्थान तमिलनाडु राज्य का मद्रास (आज का चेन्नई) शहर और भाषा द्रविड़ कही जाती है। तिरुवल्लुवर के माता-पिता इधर-उधर घूमते रहते थे। उन्होंने जन्म होते ही तिरुवल्लुवर को एक वृक्ष के नीचे छोड़ दिया था। वल्लुव (जुलाहा ) जाति की एक नि:संतान दयालु स्त्री ने इन्हें वृक्ष के नीचे पत्तों पर पड़ा पाया तो उठाकर घर ले आई। दोनों पति-पत्नी ने बड़े स्नेह और यत्न से इस बालक का पालन-पोषण किया। उनके 'वल्लुव' होने के कारण बालक का नाम वल्लुवर पड़ गया। 'तिरु' तमिल भाषा में आदरसूचक शब्द है। इसका अर्थ है- श्री। इस तरह वे तिरुवल्लुवर के नाम से प्रसिद्ध हुए। कहते हैं कि अपने जन्म की कहानी जानने के पश्चात वे अपने माता-पिता से आज्ञा ले तपस्या करने जंगल में चले गए। वहाँ ध्यान, योग तथा तंत्र-मंत्र का कठिन अभ्यास किया। फिर सोचा कि लोक सेवा करनी हो तो समाज में ही रहना चाहिए। उन्होंने वासुकी नाम की विदुषी से विवाह कर लिया और अपने पिता की भाँति कपड़ा बुनने का काम करने लगे। पति-पत्नी दोनों बड़े संतोषी जीव थे और सदा परोपकार के कार्यों में लगे रहते।
Q: गद्यांश के किस अंश से पता चलता है कि संत तिरुवल्लुवर और उनकी पत्नी का स्वभाव एवं प्रकृति समान है ?
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